कोरोना और महंगाई से त्रस्त जनता पर नगर निगम ने बढाया करों का भारी बोझ

  
Last Updated:  March 31, 2021 " 11:53 pm"

इंदौर : चुनी हुई निगम परिषद के न होने से नगर निगम में अफसरशाही हावी हो गई है। अधिकारी मनमाने निर्णय लेकर जनता पर थोप रहे हैं। पहले ही कोरोना और महंगाई से पीड़ित जनता पर निगम अधिकारियों ने भारी भरकम करों का बोझ लाद दिया है। टैक्स इतना ज्यादा बढा दिया है कि लोगों की कमर टूट जाएगी।

जलकर, कचरा शुल्क किया दुगुना, सीवरेज टैक्स का भी लादा बोझ।

इंदौर नगर निगम ने 1 अप्रैल से डोर टू डोर कचरा कलेक्शन से लेकर पीने के पानी और सीवरेज लाइनों के संधारण और उपयोग के लिहाज से शहर वासियों पर भारी भरकम टैक्स की राशि आम जनता पर थोप दी है लिहाजा अब डोर टू डोर कचरा गाड़ी को कचरा देने पर प्रतिदिन के हिसाब से ₹30 और हर महीने के हिसाब से ₹300 देने पड़ेंगे। इसी तरह एक दिन छोड़कर और कई बार तो एक से अधिक दिन छोड़कर आने वाले नर्मदा के पानी के लिए भी आम जनता को अब हर महीने 200 की बजाए न्यूनतम 400 रुपए चुकाने पड़ेंगे। नगर निगम ने पहली बार सीवरेज शुल्क लगाने का भी फैसला किया है लिहाजा आवासीय श्रेणी में सीवरेज लाइन जोड़ने पर ₹ 240 हर महीने देने होंगे वहीं व्यवसाय और औद्योगिक श्रेणी में ₹900 से लेकर 1308 प्रति माह की दरें तय की गई हैं। यही स्थिति संपत्ति कर को लेकर भी है। संपत्ति कर की गणना अब कलेक्टर गाइडलाइन के आधार पर होगी, जिससे आम लोगों को संपत्ति कर की भी भारी भरकम राशि चुकाना होगी।

शासन को बताई गई यह वजह।

इंदौर में स्वच्छता समेत जलकर एवं अन्य करो की वृद्धि के लिए निगम ने मध्यप्रदेश शासन के नगरीय विकास एवं आवास विभाग को इंदौर में विभिन्न कार्यों के लिए किए गए खर्च की स्वीकृति के साथ पहली बार सीधे 5 गुना टैक्स बढ़ाने को लेकर जो वजह बताई थी उसमें दर्शाया गया है कि इंदौर में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन में 204. 83 करोड रुपए, जल प्रदाय सेवा में 302.46 करोड रुपए और सीवरेज के अंतर्गत 27 करोड़ से ज्यादा की राशि व्यय की गई है। खर्च की गई इस राशि की तुलना में जो राशि कलेक्शन के बाद प्राप्त हुई है वह बहुत कम है इसलिए निगम प्रशासन ने सीधे 5 गुना टैक्स बढ़ाने का प्रस्ताव भेजा था जिस पर राज्य शासन ने 5 गुना टैक्स के स्थान पर दुगना कर लगाने के प्रस्ताव को स्वीकृति दी है यह भी प्रदेश में किसी शहर में लगने वाला सर्वाधिक टैक्स होगा आम जनता को अब यह कर 1 अप्रैल से चुकाने पड़ेंगे।

ये होंगी निगम के टैक्स की बढ़ी हुई दरें।

कचरा प्रबंधन शुल्क।

रेट जोन – वर्तमान दर – 1 अप्रैल से लागू होने वाली दर।

रेट जोन-1

1 : आवासीय – 150 – 300
1: व्यावसायिक – 180 – 360

रेट जोन- 2

2 : आवासीय – 130 – 260
2: व्यावसायिक – 160 – 320

रेट जोन- 3

3 : आवासीय – 100 – 200
3: व्यावसायिक – 140 – 280

रेट जोन- 4

4 : आवासीय – 90 – 180
4: व्यावसायिक – 120 – 240

रेट जोन- 5

5 : आवासीय – 60 – 120
5: व्यावसायिक – 100 – 200

जलकर की दरें।

कनेक्शन – वर्तमान दर – 1 अप्रैल से लागू होने वाली दर।

1/२ इंच घरेलू – 200 – 400
1/२ इंच व्यावसायिक – 750 – 1500
1/२ इंच औद्योगिक – 1200 – 2180
3/4 इंच घरेलू – 300 – 600
3/4 इंच व्यावसायिक – 1200 – 2400
3/4 इंच औद्योगिक – 2100 – 4200
1 इंच घरेलू – 2400 – 4800
1 इंच व्यावसायिक – 2400 – 4800
1 इंच औद्योगिक – 3900 – 7800
1,1/२ (डेढ़)इंच घरेलू – 4200 – 8400
1,1/२ (डेढ़)इंच व्यावसायिक – 4200 – 8400
1,1/२ (डेढ़) इंच औद्योगिक – 8400 – 16800
2 इंच घरेलू – 8400 – 16800
2 इंच व्यावसायिक – 8400 – 16800
2 इंच औद्योगिक – 16800 – 33600
3 इंच घरेलू – 16500 – 33000
3 इंच व्यावसायिक – 16500 – 33000
3 इंच औद्योगिक – 33000 – 66000
4 इंच घरेलू – 32000 – 64000
4 इंच व्यावसायिक – 32000 – 64000
4 इंच औद्योगिक – 64000 – 128000
6 इंच घरेलू – 60200 – 120400
6 इंच व्यावसायिक – 60200 – 120400
6 इंच औद्योगिक – 120500 – 241000

सीवरेज उपभोक्ता प्रभार ( शहर की उन संपंत्तियों पर लगेगा जो सीवरेज लाइन से जुडी हैैं)

आवासीय – 240 रुपए प्रतिमाह।
व्यावसायिक – 900 रुपए प्रतिमाह।
औद्योगिक – 1308 रुपए प्रतिमाह।
शासकीय और अर्धशासकीय – 240 रुपए प्रतिमाह।

फीकल सेप्टेज मैनेजमेंट प्रभार (उन संपंत्तियों से लिया जाएगा जो सेप्टिक टैंक से जुडी हैं)

आवासीय – 160 रुपए प्रतिमाह।
व्यावसायिक – 600 रुपए प्रतिमाह।
औद्योगिक – 872 रुपए प्रतिमाह।
शासकीय और अर्धशासकीय – 160 रुपए प्रतिमाह।

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