इन्दौर : मानव दुर्व्यापार जैसे घृणित अपराध की रोकथाम, इसके लिए बनाए गए कानूनी प्रावधानों व शासन की योजनाओं के बारे में चर्चा हेतु पुलिस कंट्रोल रूम पलासिया इंदौर में जिले की मानव दुर्व्यापार निरोधी सेल की बैठक एवं विवेचना अधिकारियों के लिए प्रशिक्षण सेमिनार का आयोजन किया गया। दो दिवसीय इस बैठक/प्रशिक्षण सेमिनार में अति. पुलिस अधीक्षक मुख्यालय इन्दौर मनीषा पाठक सोनी, उप पुलिस अधीक्षक महिला अपराध नंदिनी शर्मा, सहित, जिले में थाना स्तर पर संचालित मानव दुर्व्यापार निरोधी सेल के सदस्य और विवेचना अधिकारी उपस्थित रहें।
उक्त बैठक/प्रशिक्षण सेमिनार में सदस्यों को मानव दुर्व्यापार से संबंधित लंबित अपराधों के निराकरण हेतु कानूनी प्रावधान और समय-समय पर न्यायालय व पुलिस मुख्यालय द्वारा जारी किए जाने वाले दिशा-निर्देशों के बारे में जानकारी दी गई। इन अपराधों की विवेचना में ध्यान रखने वाली बातें एवं महत्वपूर्ण सुझाव भी दिए गए। अपराधियों की पहचान को आसान बनाने के लिए पुलिस मुख्यालय द्वारा बनाए गए ‘‘मोबाइल फेस फोरेंसिक एंड एनालिटिक्स एप्लीकेशन’’ के संचालन के बारें में भी प्रशिक्षण दिया गया।
इस अवसर पर अति. पुलिस अधीक्षक मुख्यालय ने कहा कि, मानव तस्करी एक संगठित और गंभीर अपराध है। यह गंभीर अपराध हमारे समाज को चुनौती दे रहा है। इस अपराध को रोकने के लिए पुलिस के साथ-साथ समाज की भागीदारी अत्यंत महत्वपूर्ण हैं, इसलिये हमें अपराधों पर कानूनी प्रावधानों के तहत कार्रवाई के साथ इसके संबंध में समाज में जागरूकता लाने के भी प्रयास करना चाहिए। उन्होनें उक्त ‘‘मोबाइल फेस फोरेंसिक एंड एनालिटिक्स एप्लीकेशन’’ के बारें में बताते हुए कहा कि, इस एप्लीकेशन की मदद से हम किसी भी अपराधी के बारें में उसके फोटों को स्केन करके उसकी अपराधिक पृष्ठभूमि, उसका पता तथा उसके बारें में कई महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
मानव दुर्व्यापार की रोकथाम के कानूनी प्रावधानों पर सेमिनार में दी गई जानकारी
Last Updated: October 24, 2021 " 03:58 pm"
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