इंदौर : सहायक आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे के विभिन्न शहरों में स्थित ठिकानों पर लोकायुक्त के छापों में 100 करोड़ रुपए से अधिक की अनुपातहीन संपत्ति का खुलासा अभी तक हो चुका है। इसमें कई भूखण्ड, बंगले, फार्म हाउस, फ्लैट, लाखों की नकदी, जेवरात, बैंक खाते, लॉकर और महंगी गाड़ियां शामिल हैं।
पांच शहरों में फैला है काली कमाई का मायाजाल।
सूत्रों के मुताबिक सहायक आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे के खिलाफ बीते जून माह में शराब ठेकेदारों को लाभ पहुंचाने और सरकार को चूना लगाने की शिकायत की गई थी। तभी से लोकायुक्त की नजर उनपर थी। मंगलवार तड़के लोकायुक्त की अलग- अलग टीमों ने सहायक आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे के भोपाल, रायसेन, इंदौर, सागर और छतरपुर स्थित ठिकानों पर एकसाथ छापामार कार्रवाई की। मिली जानकारी के अनुसार आलोक कुमार खरे की करीब 30 संपत्तियों के दस्तावेज लोकायुक्त के हाथ लगे हैं। जिनमें भोपाल में आलीशान बंगले, पॉश इलाकों मे कई भूखंड, ग्राम तारा सेवनिया में कृषि भूमि, एक मॉल में बड़ा दफ्तर, रायसेन में 21 व 14 एकड़ के कृषि फॉर्म, छतरपुर में बड़ा बंगला, 3 लग्जरी कारें, 2 ट्रैक्टर, लाखों रुपए नकद और जेवरात बरामद हुए हैं। भोपाल में एक बिल्डर के प्रोजेक्ट में भी करोड़ों रुपए का निवेश आलोक खरे द्वारा किये जाने की बात कही जा रही है।
इंदौर स्थित फ्लैट पर लगा था ताला।
सहायक आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे का इंदौर की पॉश बहुमंजिला इमारत ‘ग्रैंड एकजोटिका’ में फ्लैट है। लोकायुक्त की टीम वहां पहुंची तो फ्लैट पर ताला लटका मिला।
आलोक कुमार खरे इंदौर में ही सहायक आबकारी आयुक्त के पद पर पदस्थ हैं। हालांकि उनका ज्यादातर समय भोपाल में ही गुजरता था। लोकायुक्त की जांच में अभी और भी खुलासे होने की उम्मीद है।