जीडीपी के 04 फीसदी तक हो स्वास्थ्य का बजट।
चिकित्सक बिरादरी से उठी मांग।
इंदौर : गुरुवार एक फरवरी को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण लोकसभा में अंतरिम बजट पेश करेगी। आगामी लोकसभा चुनाव के कारण यह अंतरिम बजट पेश किया जा रहा है, इसके चलते इस बजट से ज्यादा उम्मीदें तो नहीं हैं फिर भी लोगों की अपेक्षाएं वित्त मंत्री से बहुत हैं।
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की इंदौर शाखा के पूर्व उपाध्यक्ष और चेस्ट फिजिशियन डॉ. संजय लौंढे
ने अंतरिम बजट में स्वास्थ्य के लिए राशि का प्रावधान बढ़ाया जाना चाहिए। 2023 में स्वास्थ्य का बजट प्रावधान जीडीपी का 2.1 फीसदी था, इसे बढ़ाकर 04 फीसदी किया जाना चाहिए। मप्र को मिलने वाले स्वास्थ्य अनुदान में भी वृद्धि की जानी चाहिए। प्रदेश में नए मेडिकल कॉलेज तो खुल रहे हैं पर स्वास्थ्य बजट में वृद्धि नहीं हो रही है। इसी के साथ पुराने मेडिकल कॉलेजों को उन्नत करने हेतु भी जरूरतों के अनुरूप राशि आवंटित होना चाहिए।
कम की जाए बॉन्ड की राशि।
डॉ. लौंढे ने एमबीबीएस व पीजी के बाद ग्रामीण पोस्टिंग को लेकर छात्रों से भरवाए जाने वाले बॉन्ड की राशि में भी कमी किए जाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में 35 लाख से लेकर एक करोड़ रुपए के बॉन्ड छात्रों से भरवाए जाते हैं, इससे छात्र तनाव में आ जाते हैं। इस बॉन्ड को कम किया जाना चाहिए।