चिकित्सकों के लिए आयोजित संगोष्ठी में विशेषज्ञ चिकित्सकों ने रखी बात।
आईएमए, इंदौर ने आयोजित की थी संगोष्ठी।
खांसी और बुखार पर संगोष्ठी।
इंदौर : ये सचेत रहने का समय है क्योंकि टीबी का संक्रमण बढ़ रहा है। किसी भी बुखार को हल्के में ना लें, समुचित जांच कराएं। यह बात इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की इंदौर शाखा द्वारा खांसी और बुखार पर केंद्रित संगोष्ठी में कही गई।
आईएमए भवन एमओजी लाइन में चिकित्सकों के लिए आयोजित इस संगोष्ठी में खांसी के विभिन्न जटिल आयाम, कारण,उपचार व निदान के संदर्भ में डॉ. वल्लभ मूंदड़ा (वरिष्ठ छाती रोग विशेषज्ञ )ने अपना उद्बोधन दिया। उन्होंने उपस्थित चिकित्सकों के प्रश्नों का समाधान भी किया।
बुखार के संक्रमण पर रखे गए विचार।
बुखार के संक्रामक कारणों पर आयोजित सत्र में डॉ दिलीप बालानी ने अपने अनुभवों को उपस्थित चिकित्सकों के साथ साझा किया। इस दौरान मलेरिया, टाइफाइड और डेंगू जैसे नियमित रोगों के साथ दुर्लभ रोगों पर भी चर्चा की गई। कारणों, निदान और उपचार पर दो तरफ़ा विचार विमर्श भी किया गया।
आईएमए, इंदौर के अध्यक्ष डॉ. अनिल भदौरिया ने बताया कि स्वस्थ्य इंदौर की परिकल्पना के साथ रखी गई इस संगोष्ठी में 65 से अधिक पुरुष और महिला चिकित्सक उपस्थित थे।सभी चिकित्सकों की आम राय थी कि जनरल रोगों से संबंधित ऐसे विषयों पर निरंतर क्लीनिकल मीटिंग आयोजित की जाना चाहिए। संगोष्ठी का समापन डॉ. विजय हरलालका के आभार प्रदर्शन के साथ हुआ।
बता दें कि इस तरह की संगोष्ठियाँ इडियन मेडिकल एसोसिएशन नई दिल्ली के निर्देश पर देश भर के लोकल ब्रांच में आयोजित की जा रही हैं।