गुजरात के मोरबी में 140 बरस पुराना केबल ब्रिज टूटा, 50 से अधिक लोगों की नदी में डूबने से मौत..

  
Last Updated:  October 30, 2022 " 11:10 pm"

रेनोवेशन के बाद इसी हफ्ते खुला था केबल ब्रिज।

400 लोगों के नदी में गिरने की है सूचना।

राहत और बचाव कार्य में जुटी कई टीमें।

केंद्र व गुजरात सरकार ने किया मुआवजे का ऐलान।

अहमदाबाद : गुजरात के मोरबी में रविवार शाम करीब 7 बजे बड़ा हादसा हो गया। यहां केबल ब्रिज टूटने से लगभग 400 लोग मच्छु नदी में गिर गए। बताया यह पुल पिछले 6 महीने से बंद था। 50 से अधिक लोगों की डूबने से मौत होना बताई गई है। हालांकि अभी इसकी अधिकृत पुष्टि नहीं की गई है। इसी महीने दिवाली के एक दिन बाद यानी 25 अक्टूबर को यह ब्रिज आम लोगों के लिए खोला गया था।

140 साल से भी ज्यादा पुराना है ब्रिज।

मोरबी का यह सस्पेंशन ब्रिज 140 साल से भी ज्यादा पुराना है। इसकी लंबाई करीब 765 फीट है। इस ब्रिज का उद्घाटन 20 फरवरी 1879 को मुंबई के तत्कालीन गवर्नर रिचर्ड टेम्पल ने किया था। यह उस समय लगभग 3.5 लाख रुपए की लागत से बनकर तैयार हुआ था। इस पुल को बनाने का पूरा सामान इंग्लैंड से ही मंगवाया गया था।

रेस्क्यू ऑपरेशन जारी 50 से अधिक की मौत की खबर।

हादसे के बाद राहत-बचाव कार्य तेजी से चलाया जा रहा है। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ टीम के साथ स्थानीय लोग भी बचाव कार्य में जुटे हैं। नदी में उतरकर लोगों को बाहर निकाला जा रहा है। मृतक संख्या और भी बढ़ने की आशंका है। इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और मप्र के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह सहित कई नेताओं ने मोरबी हादसे पर दुःख जताते हुए मृतकों की आत्मिक शांति परिजनों के प्रति गहरी संवेदना जताई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने ट्वीट करते हुए कहा “गुजरात के मोरबी में मच्छू नदी पर निर्मित पुल के गिरने से हुई दुर्घटना में अमूल्य जिंदगियों के असमय निधन का अत्यंत दुखद समाचार प्राप्त हुआ।
ईश्वर से दिवंगत आत्माओं की शांति और लापता भाई-बहनों के सकुशल होने की प्रार्थना करता हूं।”

मुआवजे का ऐलान।

इस बीच केंद्र और गुजरात सरकार ने मोरबी हादसे में मृतकों के परिवारों को मुआवजा देने का ऐलान किया है। गुजरात सरकार प्रत्येक मृतक परिवार को 4 लाख रूपए मुआवजा देगी।

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