इंदौर : कोरोना के कारण करीब 450 भारतीय पिछले तीन महीनों से पाकिस्तान में ही फंसे थे। उनकी वतन वापसी का रास्ता नहीं निकल रहा था। ऐसे में इन लोगों ने इंदौर के सांसद शंकर लालवानी से मदद की गुहार लगाई। सांसद ने विदेश मंत्रालय, गृह मंत्रालय और स्वास्थ्य मंत्रालय से बात कर इनकी वतन वापसी सुनिश्चित करवाई।
केंद्र सरकार से चर्चा कर सुनिश्चित की वापसी।
सांसद शंकर लालवानी ने कहा कि कोरोना के कारण यह सभी भारतीय पाकिस्तान में फंस गए थे। हमने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह से फंसे हुए भारतीयों की वापसी के लिए निवेदन किया था। अब जब सभी सकुशल लौट आए हैं तो उन्होंने प्रधानमंत्री, गृहमंत्री को धन्यवाद दिया है।
पाक में हिंदुओं से किया जा रहा था भेदभाव।
सांसद लालवानी ने कहा कि पाकिस्तान में इतनी बड़ी महामारी के दौरान भी हिंदुओं एवं अन्य अल्पसंख्यकों पर अत्याचार जारी थे। वहां धर्म देखकर अनाज बांटा जा रहा था और धर्म देखकर ही इलाज किया जा रहा था। आज सभी भारतीय जब सुखपूर्वक, सकुशल लौट आए हैं तो मुझे आत्मिक संतोष का अनुभव हो रहा है।
8 व्यक्ति इंदौर के भी थे शामिल।
पाकिस्तान से लौटे लोगों में 8 व्यक्ति इंदौर के भी है। इन्होंने पाकिस्तान में अपने बेहद बुरे अनुभव के बारे में बताया। उनका कहना था कि पाकिस्तान में हिंदुओं, सिखों एवं दूसरे गैर मुस्लिमों के साथ बेहद खराब व्यवहार होता है। यहां तक की अस्पताल में इलाज करवाना हो या फिर खाने के लिए पैकेट या अनाज बांटने का मामला हो, गैर मुस्लिमों के साथ बेहद खराब व्यवहार होता है। यहां तक कि कई हिंदू परिवारों को कोरोना के दौरान ना तो अनाज मिल पाया और ना ही उनका इलाज हो पाया।
अटारी बॉर्डर से भारत लौटने के बाद यह लोग बेहद खुश थे, उनका कहना था कि मानो हम नर्क से छूटकर जन्नत में आ गए हैं। शंकर लालवानी सांसद बनने से पूर्व कई सालों से पाकिस्तान में रह रहे अल्पसंख्यकों के विषय पर काम करते आ रहे हैं और कोरोना के कठिन समय में भी वे लगातार सक्रिय है।