सानंद न्यास के पांच दर्शक समूहों के लिए प्रस्तुत होंगे नाटक के पांच शो।
इंदौर : सानंद न्यास के पांच दर्शक समूहों के लिये संवेदनशील विषय पर आधारित नाटक ‘नकळत सारे घडले’ का मंचन आगामी दि. 8-9-10 नवम्बर 2024 को स्थानीय देवी अहिल्या विश्वविद्यालय सभागृह, खंडवा रोड, इंदौर में होगा।
सानंद न्यास के अध्यक्ष जयंत भिसे एवं मानद् सचिव संजीव वावीकर ने बताया कि दो पीढ़ियों के बीच विचारों का मतभेद, यह विषय सदियों पुराना है और आगे भी रहेगा। इस गुत्थी को सुलझाने का मनोवैज्ञानिक प्रयास है नाटक, ‘नकळत सारे घडले’।
25 वर्ष पूर्व इस नाटक को विक्रम गोखले, स्वाति चिटणीस जैसे दिग्गज कलाकारों ने मंचित किया था। तभी से इसे माइल स्टोन नाटक का खिताब दर्शकों ने दिया है।
बदलते वक्त के साथ नाटक में समसामयिक परिवर्तन करते हुए निर्देशक विजय केंकरे ने, लेखक शेखर ढवळीकर की विषय वस्तु को आधुनिक संदर्भों के साथ प्रस्तुत किया है। नाटक में मुख्य भूमिका आनंद इंगळे और श्वेता पेंडसे ने निभाई है। सहयोगी कलाकार है प्रशांत केनी और तनीषा वर्दे। नेपथ्य-राजन भिसे, संगीत-अशोक पत्की, प्रकाश योजना- शीतल तळपदे, वेशभूषा मंगल केंकरे और रंगभूषा- अभय मोहिते की है। व्यवस्थापक कल्पेश बाविस्कर और सूत्रधार दीपक जोशी हैं। नाटक के निर्माता हैं -राहुल पेठे व नितीन भालचंद्र नाइक।
जयंत भिसे और संजीव वावीकर ने बताया कि नाटक ‘नकळत सारे घडले’ का मंचन आगामी दि. 8 नवम्बर 2024, शुक्रवार को मामा मुजुमदार समूह के लिये शाम 6.30, बजे होगा। 09 नवम्बर 2024, शनिवार को रामुभैय्या दाते समूह के लिये शाम 04 बजे, और राहुल बारपुते समूह के लिये शाम 7.30 बजे इस नाटक का मंचन किया जाएगा। इसी तरह दि. 10 नवम्बर 2024 रविवार को वसंत समूह के लिये शाम 4 बजे और बहार समूह के लिये शाम 7.30 बजे से ये नाटक प्रस्तुत होगा।