वीर सावरकर की 140 वी जयंती पर अर्पित किए गए श्रद्धासुमन

  
Last Updated:  May 28, 2023 " 03:50 pm"

11 स्थानों से निकली वाहन रैली में सैंकड़ों लोग हुए शामिल।

इंदौर : स्वात्यंत्रवीर विनायक दामोदर सावरकर की 140 वीं जयंती जोश और उत्साह के साथ मनाई गई । शहर के 11 स्थानों से एक साथ सुबह 7.30 बजे वाहन रैली निकाली गई जिसमे सैंकड़ों लोग शामिल हो कर रेसकोर्स रोड स्थित सावरकर प्रतिमा स्थल पर पहुंचे । यहां प्रतिमा पर माल्यार्पण के बाद उद्बोधन और देशभक्ति गीतों की प्रस्तुति भी दी गई।

सावरकर जयंती आयोजन समिति के वैभव ठाकुर और सुनील धर्माधिकारी ने बताया कि इंदौर में रविवार को सावरकर जयंती के अवसर पर अभूतपूर्व उत्साह नजर आया । वीर सावरकर के विचारों, कार्यों, उत्कृष्ट साहित्य लेखन के प्रति जन जन में जागरूकता लाने के उद्देश्य से शहर के विभिन्न क्षेत्रों से वाहन रेलियां निकाली गई। इन रैलियों में बड़ी संख्या में युवा , महिलाएं और पुरुष शामिल हुए । सुखलिया, साईनाथ कॉलोनी, मिलन हाईट्स स्कीम 140, रामबाग, नारायण बाग, पंत वैद्य कॉलोनी, दत्त मंदिर सुदामा नगर, उषा नगर, रणजीत हनुमान, लोकमान्य नगर, वैशाली नगर, राजेंद्र नगर, ट्रेजर फेंटेसी और सिलिकॉन सिटी से सुबह 7.30 बजे वाहनों पर सवार हो कर सावरकर भक्त निकले। रास्ते में वीर सावरकर अमर रहे, वीर सावरकर को भारत रत्न दो जैसे नारे गुंजायमान हो रहे थे।
सभी वाहन रैलियां ठीक 8.30 बजे सावरकर प्रतिमा स्थल पहुंची। यहां पहुंचने पर सर्वप्रथम महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने प्रतिमा पर माल्यार्पण किया । इसके बाद बृहन्महाराष्ट्र मंडळ के राष्ट्रीय अध्यक्ष मिलिंद महाजन , पार्षद प्रशांत बडवे, एमआयसी सदस्य नंदकुमार पहाड़िया सहित अनेक गणमान्य नागरिकों ने माल्यार्पण किया। महापौर भार्गव ने अपने संबोधन में लोगों से आग्रह किया कि सावरकर के जीवन से प्रेरणा लें और देश को संगठित व सशक्त राष्ट्र बनाने के लिए प्रत्येक युवा को सैनिकीकरण के लिए जागृत करें।

वीर सावरकर को मिले भारत रत्न।

मिलिंद महाजन और प्रशांत बडवे ने नवीन संसद भवन का लोकार्पण सावरकर जयंती के दिन करने के लिए प्रधानमंत्री, लोकसभा अध्यक्ष और केंद्र सरकार के प्रति आभार प्रकट किया साथ ही सरकार से मांग की कि वीर सावरकर को भारत रत्न की उपाधि शीघ्र प्रदान की जाए। हजारों की संख्या में उपस्थित नागरिकों ने हाथ उठाकर इस मांग का समर्थन किया।

इसके बाद युवा ओजस्वी वक्ता और कीर्तनकार ऐवज भंडारे ने सावरकर के कार्यों के बारे में प्रेरक उद्बोधन दिया ।
लोकमान्य विद्या निकेतन के विद्यार्थियों और संगीत शिक्षकों ने सावरकर रचित दो मराठी देशभक्ति गीतों की प्रस्तुति भी इस अवसर पर दी । वीर सावरकर की वेशभूषा धारण कर उपस्थित हुए मिलिंद शर्मा सबके आकर्षण का केंद्र रहे।

कार्यक्रम का संचालन सुनील धर्माधिकारी ने किया।
सावरकर को आदरांजलि अर्पित करने श्रीराम महाशब्दे,शांतनु किबे, सुधीर देडगे ,वैभव ठाकुर, विनीता धर्म, अश्विन खरे, समीर पानसे, सुनील देशपांडे, जितेंद्र ठाकुर, मनीषा सुपेकर,नीलमाधव भुसारी, राजीव किल्लेदार, संदीप सबनीस, शेखर मुद्रिस, उदय बापट, अनिल नागपुरकर, डॉ. भूषण पूसे, प्रकाश ओवहाल, अतुल कुलकर्णी, अनिल चिटनिस, सुभाष देशमुख, अरविंद चौगंजकर, प्रकाश रानाडे, भूपेंद्र कुलकर्णी, विकास मेहरूणकर, प्रवीण दुचके, अपूर्व भोगले, दीपक साठे सहित अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित हुए।

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