इंदौर : असत्य पर सत्य और बुराई पर अच्छाई की विजय का प्रतीक विजयादशमी (दशहरा) का पर्व मंगलवार को हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। जगह- जगह बुराई के प्रतीक रावण के पुतले का दहन किया गया। रावण के साथ लंका का दहन भी किया गया। रावण का अंत होते ही लोगों ने हर्षध्वनि के साथ अपनी खुशी का इजहार किया और एक- दूसरे को विजय पर्व की बधाई दी। इस दौरान जय श्रीराम के जयघोष से आसमान गूंज उठा।
बारिश बनी हुई थी चिंता का सबब।
लगभग रोज ही बारिश होने से आयोजकों के चेहरे पर चिंता की लकीरें खींची हुई थी। दशहरा मैदान व अन्य स्थानों पर रावण के पुतले को प्लास्टिक का रेनकोट पहनाया गया था। हालांकि दशहरे पर मौसम मेहरबान रहा। बादलों ने भी दरियादिली दिखाते हुए बरसने से परहेज किया। इससे आयोजकों को राहत मिली। उन्होंने तमाम व्यवस्थाएं जुटाते हुए निश्चित समय पर पूरे विधि विधान से रावण दहन किया।
दशहरा मैदान पर हुआ परम्परागत रावण दहन।
स्थानीय दशहरा मैदान पर रियासत काल से चली आ रही परंपरा का निर्वहन करते हुए शमी के वृक्ष का पूजन किया गया। राम-लक्ष्मण और हनुमान यहां रथ में सवार होकर पहुंचे। पहले हनुमान ने 250 फीट लम्बी लंका को लपटों के हवाले किया। उसके बाद जैसे ही प्रभु श्रीराम ने अट्टहास कर रहे 111 फीट ऊंचे रावण की नाभि पर निशाना साधकर तीर चलाया, रावण धूं- धूं कर जल गया। हजारों लोगों ने रावण के अहंकार को चूर- चूर होते देख जमकर अपने उल्लास को अभिव्यक्त किया।
चिमनबाग मैदान पर रावण दहन में उमड़ी भारी भीड़।
दशहरा मैदान के बाद शहर का दूसरा सबसे बड़ा रावण दहन कार्यक्रम अनिल यादव और उनके साथियों ने चिमनबाग बाग मैदान पर आयोजित किया था। यहां 110 फीट ऊंचे रावण के साथ लंका का भी निर्माण किया गया था। मौसम खुला होने से हजारों लोग यहां रावण के अहंकार को खत्म होते देखने के लिए पहुंचे। मंत्री सज्जन सिंह वर्मा, केके मिश्रा, राजेश चौकसे सहित अन्य नेताओं की मौजूदगी में यहां हनुमानजी के हाथों पहले लंका का दहन किया गया, बाद में रावण को उसके अंजाम तक पहुंचाया गया। आसमान छूता रावण मिनटों में जलकर खाक हो गया। रावण दहन के पूर्व यहां जोरदार आतिशबाजी भी की गई।
छावनी में भी हुआ रावण दहन।
छावनी क्षेत्र में भी लोगों की हर्षध्वनि के बीच रावण दहन किया गया। यहां 51 फ़ीट ऊंचे रावण का निर्माण किया गया था।
तिलक नगर में 51 फीट के रावण का दहन।
तिलक नगर के मैदान पर भी रावण दहन की परंपरा बरसों से निभाई जा रही है। यहां इस बार 51 फीट के दशानन का दहन किया गया।
इसके अलावा विजय नगर, परदेशीपुरा व अन्य कई स्थानों पर भी रावण दहन के कार्यक्रम आयोजित किये गए।