इंदौर : एटीएम लूट में सिक्योरिटी गार्ड की हत्या करने वाले आरोपी को अदालत ने आजीवन कारावास की सजा से दंडित किया है। जिला अभियोजन (मीडिया प्रभारी) अभिषेक जैन ने बताया कि दिनांक 26.04.2023 को न्यायालय – विशेष न्यायाधीश, अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण अधिनियम), इन्दौर (मध्य प्रदेश), ने थाना बाणगंगा, जिला इन्दौर के अपराध क्रमांक 183/2017 में निर्णय पारित करते हुए अभियुक्त दीपक उर्फ धनपाल पिता रामकृष्ण ‘रघुवंशी’, उम्र 26 वर्ष, निवासी ग्राम खजुरिया थाना नई सराय जिला अशोक नगर (म.प्र.) को भारतीय दण्ड संहिता की धारा 302 में आजीवन कारावास व भारतीय दण्ड संहिता की धारा 380/511 में 3 वर्ष 6 माह का सश्रम कारावास एवं कुल 11000/- रुपये के अर्थदण्ड से दंडित किया। प्रकरण में अभियोजन की ओर से पैरवी अतिरिक्त जिला लोक अभियोजन अधिकारी आरती भदौरिया द्वारा की गई।
अभियोजन कहानी संक्षिप्त में इस प्रकार है कि दिनांक 13.02.2017 को फरियादी ने थाने पर रिपोर्ट लिखवाई कि उसका लड़का अंकुश शर्मा उम्र 26 वर्ष सिक्यो्रिटी गार्ड की नौकरी एसबीआई एटीएम दशरथ बाग टिगरिया में करता है। मैं भी सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करता हूँ। उक्तं दिनांक को मैं रात्रि में ड्यूटी पर था। मेरे पेट में गड़बड़ होने से फ्रेश होने के लिये अपने घर करीब सुबह 05:30 बजे जा रहा था। रास्ते में दशरथ बाग वाले एसबीआई एटीएम को देखा जहां मेरा लड़का अंकुश ड्यूटी पर था। मैंने देखा कि एटीएम का दरवाजा खुला हुआ था। अंदर देखा तो मेरा लड़का अंकुश खून से लथपथ पड़ा हुआ था। किसी अज्ञात बदमाश ने धारदार हथियार से जान से माने की नियत से उसकी गर्दन, दाहिने हाथ के पंजे पर तथा शरीर के अन्य जगहों पर वार किया है। एटीएम की मशीन भी टूटी हुई थी। उसके बाद मैंने अपने घर पर खबर दी। फिर मैं और प्रमोद अंकित को अरबिन्दो हॉस्पिटल लेकर गये जहां पर अंकुश को डाक्टर ने मृत होना बताया। उक्त सूचना पर से अज्ञात व्यक्ति के विरुद्ध धारा 302, 460 व 361 में अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। संपूर्ण अनुसंधान के बाद अभियुक्त के विरुद्ध अभियोग पत्र न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया था, जिस पर से अभियुक्त़ को उक्त् दण्ड से दण्डित किया गया।