इंदौर: निगम अधिकारी के साथ मारपीट की घटना को लेकर विधायक आकाश विजयवर्गीय ने अपनी गिरफ्तारी से पूर्व मीडिया से चर्चा करते हुए सफाई भी दी। उनका कहना था कि कांग्रेस के नेता मकान मालिकों व निगम अधिकारियों के साथ मिलीभगत करके कच्चे घरों को जर्जर बताकर तुड़वा रहे हैं। ताकि किराएदारों को बाहर कर जमीन पर कब्जा किया जा सकें। उन्होंने रावजी बाजार क्षेत्र में एक मकान तोड़े जाने में मंत्री सज्जनसिंह वर्मा के समर्थकों का हाथ बताते हुए उनपर जमीन हथियाने का भी आरोप लगाया। आकाश विजयवर्गीय का कहना था कि वे चुने हुए जनप्रतिनिधि हैं और लोगों की परेशानी में उनके साथ खड़े होना उनकी जिम्मेदारी है। निगम अधिकारी बिना उन्हें बताए उनके क्षेत्र में पुराने घरों को जर्जर बताकर लोगों को बेघर कर रहे हैं।उन्हें वैकल्पिक इंतजाम करने की मोहलत तक नहीं दी जा रही है। गंजी कम्पाउंड में भी केवल एक दिन पहले नोटिस देकर निगम अधिकारी मकान तोड़ने आ गए।लोगो के बुलावे पर वे वहां पहुंचे थे। उन्होंने निगमायुक्त से भी आग्रह किया था कि जो मकान खतरनाक बताकर तोड़ा जा रहा है वह इतनी बुरी हालत में भी नहीं है कि तोड़ने में जल्दबाजी की जाए। लोगों को मोहलत दी जानी चाहिए। आकाश विजयवर्गीय ने कहा कि अधिकारी राजनीतिक दबाव में मनमानी कर रहे हैं। जनप्रतिनिधि होकर भी उनकी बात को अनदेखा किया जा रहा है।
निगमायुक्त का दावा, विधायक को करा दिया था अवगत।
निगमायुक्त आशीष सिंह का इस बारे में कहना था कि विधायक आकाश विजयवर्गीय ने उनसे संबंधित जर्जर मकान को लेकर संपर्क किया था। उन्होंने मकान के फोटो और वीडियो भी भेजे थे और कार्रवाई रुकवाने का आग्रह किया था। उन्हें इस बात से अवगत करा दिया गया था कि मकान की दशा बहुत खराब है और कार्रवाई नहीं रुक सकती। निगमायुक्त ने दावा किया कि निगम अधिकारी वहां खड़े थे उन्होंने कार्रवाई शुरू भी नहीं कि थी फिर भी विधायक आकाश विजयवर्गीय ने हिंसा की घटना को अंजाम दिया।
आकाश से जुड़े कर्मचारियों पर गिरी गाज।
निगमायुक्त आशीष सिंह ने विधायक आकाश विजयवर्गीय का मारपीट में साथ देनेवाले निगम कर्मचारियों पर कार्रवाई की बात कही है। बताया जाता है कि ऐसे 21 कर्मचारियों की पहचान कर उनकी सेवाए समाप्त कर दी गई हैं।
मंत्री वर्मा ने आकाश के आरोप किए खारिज।
इधर मंत्री सज्जनसिंह वर्मा ने विधायक आकाश विजयवर्गीय द्वारा निगम अधिकारी बायस के साथ कि गई मारपीट की निंदा की। उन्होंने आकाश विजयवर्गीय के आरोप को खारिज करते हुए कहा कि उनके परिवार का कोई भी सदस्य खतरनाक मकानों को गिराने की सौदेबाजी में शामिल नहीं है । वर्मा ने कहा कि आकाश विजयवर्गीय ने अपने अपराध को छिपाने के लिए मेरे परिवार पर आरोप लगाए हैं। उनके पिता भारतीय जनता पार्टी के बड़े ओहदे पर हैं वह चाहे तो किसी भी जांच एजेंसी से जांच करा सकते हैं । सज्जन वर्मा ने कहा कि कैलाश विजयवर्गीय पश्चिम बंगाल जैसा माहौल मध्यप्रदेश में भी बनाना चाहते हैं लेकिन वे यहां सफल नहीं होंगे।