इंदौर : लोकायुक्त पुलिस ने जिला परियोजना समन्वयक श्रीमती शीला मेरावी को एक लाख रुपए की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ लिया।
मिली जानकारी के अनुसार ट्रेजर टाउन बीजलपुर निवासी दिलीप बुझानी ने जिला परियोजना समन्वयक द्वारा रिश्वत मांगे जाने की शिकायत लोकायुक्त पुलिस से की थी। उनका कहना था कि वे एमपी पब्लिक स्कूल, अशोक नगर एमपी किड्स स्कूल, अंजली नगर के संचालक है।दोनों ही स्कूल शासन से मान्यता प्राप्त हैं। वर्ष 2019 – 20 से वे निरंतर कक्षा 05 वी व 08 वी की बोर्ड परीक्षा में अपने स्कूल के विद्यार्थियों को बैठते आ रहे हैं। बावजूद इसके खुद को आरटीआई एक्टिविस्ट कहने वाले संजय मिश्रा नामक व्यक्ति द्वारा जिला परियोजना समन्वयक के कार्यालय में सूचना के अधिकार के तहत जानकारी मांगने के साथ उन्हें ब्लैकमेल किया जा रहा था की वह उनके दोनों स्कूल की मान्यता समाप्त करवा देगा।
जिला परियोजना समन्वयक ने मांगी एक लाख रुपए रिश्वत।
स्कूल संचालक दिलीप बुधानी के अनुसार आरटीआई एक्टिविस्ट संजय मिश्रा की शिकायत को खत्म करने और आगे कोई शिकायत उसके द्वारा नहीं करने संबंधी नोट लिखवा कर देने के ऐवज में जिला परियोजना समन्वयक शीला मेरावी द्वारा 10 लाख रुपए रिश्वत की मांग की जा रही थी। इसकी शिकायत उन्होंने लोकायुक्त एसपी राजेश सहाय से की थी। शिकायत के सत्यापन के बाद 04 लाख रुपए में सौदा तय हुआ। लोकायुक्त पुलिस ने जाल बिछाया और आवेदक से पहली किश्त के बतौर एक लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए जिला परियोजना समन्वयक शीला मरावी को उनके कार्यालय में ही रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।आरोपी जिला परियोजना समन्वयक शीला मरावी के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण संशोधन अधिनियम 2018 की धारा 07 के तहत अपराध पंजीबद्ध कर वैधानिक कार्रवाई की जा रही है।