धूमधाम से मनाया गया गोदा – रंगनाथ का विवाहोत्सव

  
Last Updated:  June 19, 2023 " 12:26 pm"

श्री ब्रम्होत्सव एवं रथयात्रा महोत्सव।

लाइट एवं साउंड शो में नजर आया परकाल स्वामी की लीला का जीवन चरित्र।

19 जुन को सांयकाल 7 बजे से पुष्प बंगले में प्रभु वैंकटेश के होंगे मनोहारी दर्शन।

इंदौर : शहनाई की धुन,सखियों द्वारा गीतों का मधुर गान के बीच कई अति सुभाषित अलंकारो से गोपियाँ द्वारा श्रृंगारित कर भगवती, नागोरिया पीठाधिपति स्वामीश्री विष्णुप्रपन्नाचार्य महाराज,के साथ वेंकटेशप्रपन्नाचार्य महाराज और अनेक संतों की उपस्थिति में विवाह मंडप में पधारी। प्रभु रंगनाथ घोड़े पर सजधज कर गदा , पदम् , कटार , धरकर दूल्हा बन के गोविंदा – गोविंदा के जयघोष के साथ बारात में निकले। बाजे गाजे और ढोलक की थाप पर श्रद्धालु डांडिया, मटकी,रास करते चल रहे थे। अश्व पर विराजे प्रभु वेंकटेश को भी ढोलक की थाप पर बहुत नचाया गया। सारे बाराती व घराती साफे में सजे- धजे नजर आ रहे थे।

विवाह यजमान रमेश चितलांगया परिवार, हैदराबाद से पधारे नागोरिया शिष्य वृन्द परिवार, तिवारी परिवार को भटर स्वामी द्वारा विवाह का संकल्प कराया गया।

श्री वेणुगोपाल संस्कृत पाठशाला के आचार्य और विद्यार्थियों द्वारा गोदा स्तोत्र, गुरु परंपरा, अल्वान्दर स्तोत्र, वेंकटेश स्तोत्र , तिरुपावे का पाठ किया जा रहा था। भजन गायक द्वारकादास मंत्री के भजनों की मधुर धुन पर पधारो म्हारे देश,के साथ मेहंदी लगी महार हाथा में,चांदी चांदी हो गयी,रंग जी बना की गोधा बानी रे दुल्हनिया और नगरी आज रंगजी दोड़ – दोड़कर , बहारो फूल बरसाओ मेरे रंगनाथ आये हैं जैसे भजनों पर श्रद्धालु झूम रहे थे।

मीडिया प्रभारी पंकज तोतला ने बताया कि अंकित सोनी,सौरभ चौहान, सर्वेश गट्टानी, अंकित पाठक,शरद पसारी, मधु मुछाल,राम जाखेटिया, रवि सिंगी व सुमित मालू द्वारा पुष्प, मालाओं,इत्र, गुलाब जल द्वारा बारात का स्वागत किया गया। प्रभु रंगनाथ ने तोरण लगाकर विवाह मंडप में बारातियों के साथ प्रवेश किया। वधु पक्ष द्वारा भगवती श्री गोदाम्ब जी को सजा धजा कर विवाह मंडप में विराजमान किया गया। भटर स्वामी समूह के साथ पुजारी बिहारी काका सुदर्शनाचर्या, दीपक, नितिन, मनोहर शास्त्री, कैलाश शास्त्री द्वारा भगवन को रक्षा सूत्र बंधने के साथ दक्षिण भारतीय पद्दति से शुरू हुई विवाह की सभी रस्में जिसने मामेरा बरना , वस्त्रों का आदान – प्रदान, वरमाला,मंगल सूत्र,मांग भराई,जूते चुराने और सात फेरो के साथ विवाह की सभी रस्मे पूरी की गयी। विवाह पश्चात श्री स्वामी महाज द्वारा प्रभु गोदा- रंगनाथ की आरती की गई।सभी भक्तों को बधाई व गोष्ठी वितरण किया गया।

निकली अश्व वाहन पर सवारी, हुई परकाल लीला।

रात्रि के सत्र में प्रभु वेंकटेश की अश्व वाहन पर सवारी निकली। इसी के साथ पहली बार लाइट ओर साउंड शो के माध्यम से परकाल स्वामी की लीला का चित्रण पेश किया गया।

रविवार को विशेष श्रृंगार दर्शन में डॉयफ्रूट बंगला सजाया गया था। पूरे निज मंदिर को डॉयफ्रूट और विशेह मखाने की माला से सजाने के साथ अनेक डॉयफ्रूट सामग्री से भोग भी लगाया गया।

19 जून को सुबह प्रणय – कलह लीला।

सोमवार, 19 जून को प्रातः 9 बजे से देवस्थान में प्रणय कलह लीला होगी जिसमें भगवान की सवारी निकलेगी।लक्ष्मीजी भगवान के ऊपर माखन का वर्षाव करेगी,भगवान गेंद से खेलेंगे और अनेक प्रकार के वस्त्र बदलेंगे।।

पुष्प बंगला 19 जून को शाम 7 बजे से।

रवींद्र धूत व पंकज तोतला ने बताया कि वर्ष 1980 से प्रतिवर्ष पुष्प बंगले का निर्माण देवस्थान में किया जा रहा है। मध्य प्रदेश में पुष्प बंगले की सोगात देने का श्रेय श्री वेंकटेश मंदिर छत्रीबाग को जाता है। वृन्दावन से आए विशेष कलाकार नत्थूसिंह और उनके साथी कलाकारों द्वारा इंदौर के कलाकारों के सहयोग से पुष्प बंगले का निर्माण किया जा रहा है।

संयोजक बालकिशन सिंगी,हर्ष पसारी,सुमित मालू,आशीष लड्डा ने बताया कि पुष्प बंगले को इस वर्ष मथुरा में यमुना नदी के
किनारे मयूर महल के रूप में निर्मित किया जा रहा है जिसमें अनेक मयूर द्वार बनाए जा रहे हैं। यमुना में नौका विहार करते श्रीदेवी भूदेवी, रामानुज स्वामी गोदाम्बा नजर आएंगे।
इस वर्ष यह दिव्य पुष्प बंगला
45 × 20 स्क्वेयर फीट का तैयार किया जा रहा है।इसमें मोगरा 1000 किलो,गुलाब 100 किलो,कनेर 150 किलो, जूही 150 किलो, रजनीगंधा 300 किलो, पूना गुलाब की झुमकिया 1000 किलो का उपयोग किया जा रहा है।

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