इंदौर : महाराष्ट्रीयन स्वाद, संस्कृति और खाद्य उत्पादों से समूचे इंदौरवासियों को परिचित कराने का श्रेय मराठी सोशल ग्रुप को जाता है। कोरोना काल को छोड़ दें तो बीते 22 वर्षों से सोशल ग्रुप के सुधीर दांडेकर और उनके साथी जत्रा के माध्यम से इंदौरियों को महाराष्ट्रीयन व्यंजन और संस्कृति से रूबरू करा रहे हैं। शहर के बाशिंदे भी जत्रा में आकर लजीज व्यंजनों और मराठी लोक संस्कृति का आनंद उठाने के साथ दिवाली की खरीददारी भी कर लेते हैं। इस बार भी शुक्रवार 14 अक्टूबर से गांधी हाल के समीप स्थित पोद्दार प्लाजा में आयोजित जत्रा को लोगों का जोरदार प्रतिसाद मिल रहा है। आज रविवार को तीसरा और अंतिम दिन होने से दोपहर 12 बजे से ही लोग यहां पहुंचने लगे थे। शाम होते – होते यहां पैर रखने की भी जगह नहीं मिलेगी।
व्यंजनों का लजीज स्वाद और लावणी का उल्लास।
जत्रा के दूसरे दिन याने शनिवार शाम को भी जबर्दस्त भीड़ उमड़ी। दिवाली के मौके पर घर को सजाने – संवारने के आवश्यक वस्तुओं की खरीददारी के साथ लोगों ने फूड जोन में खालिस महाराष्ट्रीयन व्यंजनों का भरपूर लुत्फ उठाया। यहां पुरण पोली, झुणका भाकर, भाकरवड़ी, सोलकढ़ी, धिरडे, बासुंदी सहित कई स्वादिष्ट व्यंजन परोसे जा रहे हैं। अहम बात ये है कि सभी स्टॉल घरेलू कामकाजी महिलाओं ने लगाए हैं।
लावणी के लावण्य से दर्शक अभिभूत।
जत्रा में स्वाद और खरीददारी के साथ मनोरंजन का भी तड़का लगाया गया है। यहां सजाए गए स्टेज पर मुंबई से आए कलाकार श्रुंगारिक लोकगीतों पर लावणी की मनोहारी प्रस्तुति दे रहे हैं। महिला कलाकारों का ढोलकी और अन्य वाद्यों के साथ गीतों के बोलों पर नृत्याभिनय देखते ही बनता है। लावणी का मस्ताना अंदाज दर्शकों को भी झूमने पर मजबूर कर देता है।
शॉपिंग, स्वाद और मनोरंजन की ये सौगात आज रविवार रात 11 बजे तक जारी रहेगी।