घटनास्थल से बड़ी मात्रा में रस्सी बम और बारूद बरामद।
घायल मजदूरों का चोइथराम अस्पताल में किया जा रहा उपचार।
इंदौर : हरदा में बीते दिनों अवैध पटाखा फैक्ट्री में हुए भीषण हादसे के बाद भी इंदौर में अवैध रूप से संचालित पटाखा फैक्ट्रियों को बंद करवाने की कोई ठोस पहल नहीं की गई। इसी उदासीनता के चलते मंगलवार को महू के समीप आंबा चंदनगांव में अवैध रूप से चलाई जा रही पटाखा फैक्ट्री में आग लगी गई। आग में तीन मजदूर झुलस गए, जिन्हें इंदौर के चोइथराम हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है। फैक्ट्री में रस्सी बम बनाए जा रहे थे। घटना के बाद महू व इंदौर से गई दमकलों की मदद से आग पर काबू पाया गया।
पटाखा फैक्ट्री में हुए धमाकों के बाद जिला प्रशासन और पुलिस की टीम भी मौके पर पहुंची। घटनास्थल से करीब दो ट्रक से अधिक तैयार रस्सी बम,बड़ी मात्रा में बारूद और कच्ची सामग्री मिली। गनीमत रही की थोड़ी दूर रखे होने से आग बारूद के इस जखीरे तक नहीं पहुंच पाई अन्यथा हादसा बेहद बड़ा होकर जान माल की बड़ी हानि हो सकती थी। जिला प्रशासन ने घटना की जांच शुरू कर दी है। चोइथराम में लाए गए घायलों के नाम रोहित पिता परमानंद निवासी ग्राम दातोदा, अर्जुन पिता नाथू राठौर निवासी महाराष्ट्र और उमेश पिता माणिक चौहान बताए गए हैं।
विधायक उषा ठाकुर ने जताई नाराजगी।
हादसे की खबर मिलते ही घटनास्थल पहुंची महू की विधायक उषा ठाकुर ने अवैध रूप से पटाखा फैक्ट्री संचालित होने पर नाराजगी जताई। उन्होंने इसके लिए जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई पर जोर दिया।