संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने की जिले में कोविड की वर्तमान स्थिति की समीक्षा।
कम रिस्क वाले मरीजों के लिए शुरू होगा डे-केयर सेंटर।
संभाग के सभी जिलों के सीएमएचओ को दो बार सेंपल भेजने के दिए निर्देश।
इंदौर : संभागायुक्त डॉ. पवन कुमार शर्मा ने मंगलवार को कमिश्नर कार्यालय में इंदौर के मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. संजय दीक्षित तथा संबंधित शासकीय अस्पतालों के अधीक्षक और एचओडी के साथ जिले में कोविड की वर्तमान स्थिति तथा कोरोना के उपचार के लिए उपलब्ध संसाधनों के बारे में विस्तृत समीक्षा की। बैठक में कलेक्टर मनीष सिंह, इंदौर विकास प्राधिकरण के सीईओ विवेक श्रोत्रिय, उपायुक्त सपना सोलंकी, संयुक्त संचालक स्वास्थ्य डॉ. अशोक डागरिया भी उपस्थित रहे।
बैठक में संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने जिले में कोरोना की वर्तमान स्थिति का आंकलन करते हुए बैठक में उपस्थित अस्पतालों के अधीक्षक और एचओडी को कोरोना संक्रमित मरीजों के उपचार हेतु सर्वेश्रेष्ठ सुविधाएं प्रदान करने के लिये पूरी तैयारी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने अस्पतालों में वेंटीलेटर, ऑक्सीजन बेड व मैन पॉवर जैसे डॉक्टर, नर्स, पैरामेडिकल स्टॉफ, सफाई कर्मचारी आदि एवं अन्य जरूरी संसाधनों की उपलब्धता के बारे में चर्चा की। जिन संसाधनों की कमी पायी जा रही है उनकी उपलब्धता जल्द से जल्द सुनिश्चित करने के निर्देश डीन डॉ. दीक्षित को दिए। संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने पूर्व में संभाग के सभी जिलों के सीएमएचओ को निर्देश दिए थे कि कोविड की जांच हेतु प्रत्येक दिन दो बार सेम्पल इंदौर भेजे जाएं जिससे कोविड मरीज की पहचान समय रहते की जा सके तथा उचित उपचार जल्द से जल्द प्रारंभ किया जा सके। समीक्षा के दौरान पाया गया कि उक्त निर्देशों के बाद भी संभाग के अन्य जिलों से प्रत्येक दिन एक ही बार सेम्पल भेजे जा रहे हैं। संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने संयुक्त संचालक स्वास्थ्य डॉ. डागरिया को निर्देश दिए कि वे यह सुनिश्चित कराएं की सभी जिलों के सीएमएचओ कम से कम दो बार कोरोना सेम्पल जांच हेतु इंदौर भेजें।
सुपर स्पेशलिटी और एमटीएच में शुरू होगा डे-केयर सेंटर।
बैठक में संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने कम रिस्क और बिना लक्षण वाले मरीजों के लिए बुधवार 31 मार्च से सुपर स्पेशलिटी और एमटीएच अस्पताल में डे-केयर सेंटर प्रारंभ करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि डे-केयर सेंटर पर ऐसे मरीज जो असिम्प्टोमेटिक हैं और जिन्हें ऑक्सीजन की जरूरत नहीं है उनका इलाज किया जा सकेगा। ऐसे सभी मरीजों को उक्त केन्द्रों पर इंजेक्शन एवं अन्य दवाइयाँ देकर होम आईसोलेशन में रखा जाएगा। संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने डे-केयर सेंटर में कॉल सेंटर की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कॉल सेंटर के माध्यम से मेडिकल स्टॉफ द्वारा मरीज की नियमित मॉनिटरिंग की जाएगी। साथ ही दिन में दो बार फोन लगाकर मरीज के स्वास्थ की जानकारी भी ली जाएगी। उन्होंने कहा कि डे-केयर सेंटर के माध्यम से हम इंदौर व अन्य जिलों से आने वाले गंभीर मरीजों के लिये बेड की उपलब्धता सुनिश्चित कर पायेंगे। उन्होंने बताया कि जिले के पांच निजी अस्पतालों में भी मंगलवार से डे-केयर सेंटर प्रारंभ किये जा रहे हैं।
प्रत्येक वार्ड में स्थापित होगा नि:शुल्क वैक्सीनेशन केन्द्र।
केन्द्र एवं राज्य शासन के निर्देशों के परिपालन में एक अप्रैल से 45 वर्ष से अधिक आयु वाले सभी लोगों को कोविड वैक्सीनेशन का टीका लगाया जाना प्रारंभ किया जाएगा। कलेक्टर श्री सिंह ने बताया कि वैक्सीनेशन अभियान के सफल क्रियान्वयन और जन स्वास्थ की कोविड से सुरक्षा हेतु इंदौर जिले के प्रत्येक वार्ड में नि:शुल्क वैक्सीनेशन केन्द्र स्थापित किए जाएंगे। उन्होंने बताया कि 45 वर्ष से अधिक आयु वाले व्यक्ति इन केन्द्रों पर जाकर कोविड वैक्सीन लगवा सकेंगे। इसी के साथ जिले के निजी अस्पतालों को शहर में मोबाइल वैक्सीनेशन यूनिट शुरू करने की अनुमति भी प्रदान की जा रही है।