इंदौर : 1930 के आसपास भारत में बुलबुलतरंग की आमद हुई। ये एक तंतु वाद्य है। इसकी आवाज बेहद मधुर होती है,हालांकि इलेक्ट्रॉनिक वाद्यों के बढ़ते प्रचलन के साथ इसका चलन बॉलीवुड के गीतों में कम हो गया है। इसी साज से शहर के संगीत प्रेमियों को रूबरू कराने के लिए दिनाँक 23 मार्च 2025 को शाम ठीक 6 35 पर संतोष सभागृह में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया है। प्रकाश खानवलकर इस कार्यक्रम में बुलबुल तरंग पर संगीतकार ओपी नैयर, शंकर जयकिशन,हेमंत कुमार ,चित्रगुप्त आदि संगीतकारो के 50 और 60 के दशक के, चुनिंदा सदाबहार गीत पेश करेंगे। कुछ गीतों में रांजेंद्र गलगले भी अपनी आवाज़ देंगे। कार्यक्रम के सह आयोजक संस्था उत्कर्ष और करहाड़े ब्राह्मण संघ इंदौर हैं।
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