इंदौर : 22 मार्च के बाद पहली बार रविवार को बाजार की पुरानी रौनक जैसे लौट आई। सुबह से ही लोग परिवार के साथ बाजार में तफरीह करने निकल पड़े थे। बड़े बाजार बंद थे पर फुटपाथ की दुकानें, फेरीवाले, खानपान के ठीये, जेलरोड का मोबाइल मार्केट, हर जगह लोगों की उपस्थिति दिखाई दी। कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बावजूद लोगों में शहर अनलॉक होने की खुशी नजर आ रही थी। क्या राजबाड़ा, क्या 56 दुकान सब जगह पर लोग नजर आए। शाम होते ही 56 दुकान पर तो स्वाद के शौकीनों की भारी भीड़ जमा हो गई थी। रविवार का दिन होने से लोगों ने परिवार के साथ खानपान का लुत्फ उठाते हुए खरीदारी भी की।
होटल में लंच- डिनर के लिए पहुंचे लोग।
रविवार अनलॉक होने से के लोग परिवार सहित होटलों में खाना खाने पहुंचे। उनका कहना था कि रविवार को अनलॉक से बहुत राहत मिली है। संक्रमण के कारण लॉकडाउन का निर्णय सही था, लेकिन कोरोना के बीच ही जब हमें जीना है तो फिर कब तक इससे डरेंगे। इसका एक ही इलाज है सुरक्षा। शासन प्रशासन ने जो गाडड लाइन जारी की है, उसका यदि सही तरीके से पालन किया जाए तो हम इस बीमारी से बच सकते हैं। जरूरी हो तो ही घरों से बाहर निकलें। भीड़ वाली जगह पर जाने से बचे।
राजबाड़ा पर खरीदारी करने पहुंचे लोग।
परिवार के साथ कई लोगों ने राजवाड़ा क्षेत्र में खुली दुकानों पर खरीददारी की। उनका कहना था कि सप्ताह में छह दिन कामकाज में चले जाते हैं। रविवार को लॉकडाउन के कारण कहीं जाना नहीं हो पाता था। ऐसे में जरूरी सामान लेने के लिए समय ही नहीं मिल पा रहा था। अब रविवार का लॉकडाउन खुला है तो सामान खरीदने निकल आए।
शहर पूरीतरह अनलॉक होने से व्यापारी वर्ग और फेरीवाले खुश नजर आए। हालांकि इस खुले माहौल में चिंता यही है कि संक्रमण का खतरा बढ़ने न पाए। लोगों को चाहिए कि वे दो गज की दूरी, मास्क पहनना और हाथों को सेनिटाइज करना न भूले, अन्यथा हालात विकट हो सकते हैं।