इंदौर : जिले में शासकीय स्कूलों में पदस्थ दो शिक्षकों को डीएड की फर्जी मार्कशीट प्रस्तुत करने पर सेवामुक्त किया गया है। इनके विरूद्ध पुलिस कार्रवाई की जाए गी और भुगतान किए गए वेतन की नियमानुसार वसूली भी होगी। यह कार्रवाई कलेक्टर मनीष सिंह के अनुमोदन के बाद की गई है। फर्जी डीएड मार्कशीट के बल पर सरकारी नौकरी हासिल करने वाले आरोपी शिक्षकों के नाम पटवाखेड़ी में पदस्थ प्राथमिक शिक्षक चिन्तामण देथलिया और महू के धोडबड़ में पदस्थ प्राथमिक शिक्षक गोकुल सोलंकी बताए गए हैं।
जांच में मामला हुआ उजागर।
जिला शिक्षा अधिकारी ने बताया कि शासकीय प्राथमिक विद्यालय पटवाखेडी सांवेर जिला इंदौर के प्राथमिक शिक्षक चिन्तामण देथलिया के विरूद्ध शिकायत प्राप्त हुई थी कि इनकी डी.एड की मार्कशीट फर्जी है। शिकायत पर जॉच कमेटी गठित कर जाँच कराई गई। जाँच में शिकायत सही पाई गई। फलस्वरूप दोषी कर्मचारी को सेवामुक्त किये जाने हेतु मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत इंदौर को नस्ती प्रेषित की गई। अनुमोदन प्राप्त होने पर चिन्तामण देथलिया को मध्यप्रदेश सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम 1966 के नियम 10 (नौ) के प्रावधानो के अंतर्गत सेवा से पदच्युत (DISMISS) किये जाने का अनुमोदन कलेक्टर जिला इंदौर से प्राप्त किया गया। अनुमोदन प्राप्त होने पर चिन्तामण देथलिया को सेवा से ‘पदच्युत (DISMISS) किया गया। साथ ही दोषी कर्मचारी के विरूद्ध नियमानुसार पुलिस कार्यवाही करने एवं भुगतान किए गये वेतन का गणनापत्रक तैयार कर नियमानुसार वसूली की कार्रवाई किए जाने हेतु संकुल प्राचार्य शासकीय उत्कृष्ट उच्चत्तर माध्यमिक विद्यालय सांवेर को निर्देशित किया गया है।
इसी तरह शासकीय प्राथमिक विद्यालय धोडबड महू के प्राथमिक शिक्षक गोकुल सोलंकी के विरूद्ध भी शिकायत प्राप्त हुई थी कि इनकी डी.एड की मार्कशीट फर्जी है। शिकायत पर जॉच कमेटी गठित कर जॉच कराई गई। जॉच में शिकायत सही पाई गई। फलस्वरूप दोषी कर्मचारी को सेवामुक्त किये जाने हेतु मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत इंदौर को नस्ती प्रेषित की गई। कलेक्टर से अनुमोदन प्राप्त होने पर गोकुल सोलंकी को भी मध्यप्रदेश सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम 196 के तहत सेवा से पदच्युत (DISMISS) किया गया।