13 अगस्त को लोक अदालत में आपसी राजीनामे से होगा प्रकरणों का निराकरण

  
Last Updated:  August 11, 2022 " 03:54 pm"

प्रकरणों के निराकरण के लिये 58 खंडपीठों का गठन।

इंदौर : जिले में लंबित न्यायालयीन प्रकरणों के आपसी सुलह समझौते के साथ निराकरण के लिए 13 अगस्त को नेशनल लोक अदालत का आयोजन किया गया है। यह लोक अदालत तहसील से लेकर जिला स्तर तक के न्यायालयों में, राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण जबलपुर के निर्देशानुसार एवं प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश व अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सुबोध कुमार जैन के मार्गदर्शन में यह लोक अदालत आयोजित की जा रही है। इंदौर जिले में 13 अगस्त-2022 (शनिवार) को जिला न्यायालय, श्रम न्यायालय, परिवार न्यायालय एवं तहसील स्तर पर तहसील न्यायालय डा. अम्बेडकर नगर, देपालपुर, सांवेर व हातोद में आयोजित की जा रही है।

इस वर्ष की तीसरी नेशनल लोक अदालत का शुभारंभ जस्टिस विजय कुमार शुक्ला पोर्ट फोलियो जज मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय खण्डपीठ इन्दौर करेंगे।

सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण मनीष श्रीवास्तव ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि नेशनल लोक अदालत में विभिन्न न्यायालयों में लंबित दीवानी एवं आपराधिक राजीनामा योग्य प्रकरण, मोटर दुर्घटना से संबंधित क्लेम प्रकरण और विभिन्न बैंकों, फायनेंस कंपनियों द्वारा प्रस्तुत प्री-लिटिगेशन प्रकरण राजीनामें के आधार पर निराकरण हेतु रखे गए हैं। प्रकरणों के निराकरण हेतु कुल 58 खंडपीठों का गठन किया गया है। जिला न्यायालय इन्दौर में 36 खण्डपीठ, लोकोपयोगी लोक अदालत की 01 खंडपीठ, श्रम न्यायालय की 01 खंडपीठ, कुटुम्ब न्यायालय में 04 खंडपीठ, डॉ. अम्बेडकर नगर में 09 खंडपीठ, देपालपुर में 04 खंडपीठ, सांवेर में 02 खंडपीठ एवं हातोद में 01 खंडपीठ का गठन किया गया है।

उक्त लोक अदालत में भारत संचार निगम लिमिटेड द्वारा लैंडलाइन, ब्राडबेंड, एफ.टी.टी.एच. सहित मोबाइल पोस्टपेड के बकाया बिलों पर भी नियमानुसार छूट दी जा रही है। नगर निगम द्वारा संपत्ति एवं जलकर के सरचार्ज में राहत दी जाएगी। विद्युत अधिनियम, 2003 की धारा 126 एवं 135 के अंतर्गत निम्न दाब श्रेणी के समस्त घरेलू, समस्त कृषि, 5 किलोवाट भार तक के गैर घरेलू, 10 अश्वशक्ति भार तक के औद्योगिक उपभोक्ताओं को नियम एवं शर्तों के अधीन प्रीलिटिगेशन एवं लीटिगेशन स्तर पर छूट दी जाएगी।

लोक अदालत में राजीनामे के आधार पर प्रकरण के निराकरण पर पक्षकार द्वारा अदा की गई संपूर्ण कोर्ट फीस, शासन से वापस प्राप्त की जा सकेगी, इसी प्रकार चेक बाउंस के मामलों में भी कोर्ट फीस वापस प्राप्त हो सकेगी।

जिला विधिक सेवा प्राधिकरण इन्दौर द्वारा ऐसे सभी व्यक्तियों से ‘‘जिनके राजीनामा योग्य दीवानी, आपराधिक, क्लेम प्रकरण, विशेषकर चेक बाउंस से संबंधित प्रकरण न्यायालय में विचाराधीन है या प्रीलिटिगेशन मामला से अपील की गई है कि 13 अगस्त, 2022 को न्यायालय परिसर में उपस्थित होकर सुलह समझौते के आधार पर अपने प्रकरण का निराकरण कराने हेतु लोक अदालत में उपस्थित हो।

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