ऑक्सीजन प्लांट की स्थापना में वित्तीय मदद करेगी प्रदेश सरकार

  
Last Updated:  May 4, 2021 " 01:02 am"

इंदौर : मध्य प्रदेश सरकार प्रदेश में ऑक्सीजन की उपलब्धता बढाने के लिए नए प्लांट लगाने वालों को वित्तीय मदद भी देगी। कैबिनेट मंत्री तुलसी सिलावट ने बताया कि आक्सीजन निर्माण के लिए नवीन निवेश को आकर्षित और प्रोत्साहित करने के लिए उद्योग संवर्द्धन नीति के तहत विशेष वित्तीय सहायता प्रदान करने का नीतिगत निर्णय लिया गया है। उन्होंने इस महत्वपूर्ण निर्णय के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का आभार व्यक्त किया है।
बता दें कि बीती 28 अप्रैल को मंत्री तुलसी सिलावट ने मुख्यमंत्री चौहान के समक्ष यह माँग रखी थी कि निजी अस्पतालों में ऑक्सीजन की आपूर्ति बढ़ाने के लिए ऑक्सीजन प्लांट के निर्माण को प्रोत्साहन दिया जाए। उन्होंने इस संबंध में निजी अस्पताल संचालकों के साथ बैठक भी की थी।
मंत्री सिलावट ने बताया कि इस संबंध में शासन द्वारा नीतिगत निर्णय लेते हुए सभी कलेक्टरों को सूचित कर दिया गया है। प्रदेश में पात्र इकाई जिनकी ऑक्सीजन उत्पादन क्षमता न्यूनतम 10 क्यूबिक मीटर प्रति घंटा होगी, को यंत्र, संयंत्र और भवन (भूमि एवं रिहायशी इलाकों को छोड़कर) में किये गये पूंजी निवेश पर 50 प्रतिशत की स्थिर दर से मूल निवेश प्रोत्साहन सहायता देय होगी। उक्त सहायता की अधिकतम सीमा 75 करोड़ रूपये होगी। पात्र इकाईयों को प्रचलित विद्युत टेरिफ पर एक रूपये प्रति यूनिट की छूट दी जाएगी। उक्त छूट एमपीईआरसी द्वारा दी जा रही छूट, यदि कोई हो, के अतिरिक्त एक रूपये प्रति यूनिट होगी। इसकी प्रतिपूर्ति एमएसएमई या एमपीआईडीसी द्वारा पात्र इकाईयों को की जाएगी। इस सुविधा का लाभ वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ होने के दिनांक से 3 वर्ष की अवधि के लिये प्राप्त हो सकेगा।
प्रदेश में मेडिकल ऑक्सीजन की उत्पादकता बढ़ाने के लिये अपने जिले में स्थित ऑक्सीजन उत्पादक इकाईयों, ऑक्सीजन उपकरण निर्माता इकाईयों, बड़े निजी अस्पतालों एवं इच्छुक उद्यमियों को मेडिकल ऑक्सीजन की उत्पादक इकाईयाँ स्थापित करने के लिये आह्वान किया गया है ताकि जल्दी से यह प्लांट स्थापित हो सकें और कोरोना के उपचार में लगने वाली आक्सीजन की प्रचुर उपलब्धता सुनिश्चित हो सके।

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