राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (एनजीटी) के सदस्य डॉ अफरोज अहमद ने इंदौर मॉडल की सराहना की।
डॉ. अहमद ने अपशिष्टों के निस्तारण में अन्य जिलों और शहरों को इंदौर के मॉडल का अनुकरण करने के दिए निर्देश।
इंदौर : राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (एनजीटी) प्रिंसिपल बेंच नई दिल्ली के सदस्य डॉ. अफरोज अहमद ने इंदौर में स्वच्छता, पर्यावरण सुधार, अपशिष्टों के निस्तारण, भू-जल स्तर में वृद्धि और वॉटर प्लस की दिशा में हुए कार्यों की सराहना की है। उन्होंने कहा कि इंदौर स्वच्छता और पर्यावरण सुधार के साथ ही अपशिष्टों के निस्तारण के क्षेत्र में बेहतर मॉडल के रूप में उभरा है। इंदौर के मॉडल का अनुकरण अन्य जिलों और शहरों को भी करना चाहिए। इंदौर में जैव- चिकित्सा अपशिष्टों (बॉयो मेडिकल वेस्ट) के निस्तारण में भी बेहतर कार्य हो रहे है।
डॉ. अफरोज अहमद ने गुरुवार को एआईसीटीएसएल के सभाकक्ष में आयोजित बैठक में इंदौर में अपशिष्टों के निस्तार विशेषकर बॉयो मेडिकल वेस्ट के निस्तारण के क्षेत्र में हो रहे कार्यों की समीक्षा के दौरान ये बात कही। बैठक में कलेक्टर मनीष सिंह, नगर निगम आयुक्त प्रतिभा पाल, क्षेत्रीय अधिकारी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड एस.एन. द्विवेदी सहित नगर निगम, चिकित्सा शिक्षा, स्वास्थ्य विभाग सहित अन्य संबंधित विभागों, इंडियन मेडिकल एसोशिएशन और नर्सिंग होम एसोशिएशन के पदाधिकारी उपस्थित थे।
बायो मेडिकल का हो उचित निपटान।
बैठक में डॉ. अहमद ने कहा कि बॉयो मेडिकल वेस्ट का उचित और वैज्ञानिक तरीके से निपटान होना अति आवश्यक है। इसके लिए उन्होंने स्वास्थ्य क्षेत्र से निकलने वाले बॉयो मेडिकल वेस्ट के दुष्प्रभावों को कम करने के लिए वैज्ञानिक मानकों के तहत कार्य करने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि स्वच्छता के क्षेत्र में लगातार 6 वर्षों से अव्वल रहकर इंदौर के प्रशासन और नागरिकों ने जागरूकता, सक्षमता, संवेदनशीलता और कर्मठता का बेहतर परिचय दिया है। इंदौर ने नयी ऊँचाईयों को हासिल किया है। डॉ. अहमद ने कहा कि स्वच्छता के क्षेत्र में लगातार सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने के लिए इंदौर कलेक्टर मनीष सिंह, जिले की समस्त प्रशासनिक टीम और नागरिक बधाई के पात्र हैं। उन्होंने कहा कि इंदौर अब अपशिष्टों के निस्तारण के क्षेत्र में भी अग्रणी भूमिका निभाए।
डॉ. अहमद ने कहा कि इंदौर में भू-जल स्तर में सुधार और जल की गुणवत्ता को बेहतर बनाने की दिशा में भी अच्छे कार्य हुए हैं। उन्होंने निर्देश दिए कि भू-जल के उपयोग के लिए होटल और हॉस्पिटलों को अनुमति लेना सुनिश्चित करें। अनुमति की प्रक्रिया का व्यापक प्रचार-प्रसार करने के निर्देश भी उन्होंने दिए। डॉ. अहमद ने कहा कि इंदौर में वॉटर प्लस की दिशा में भी अच्छे कार्य हुए हैं। जल की गुणवत्ता बनाए रखना सभी नागरिकों का दायित्व है। उन्होंने कहा कि यह ध्यान रखा जाए कि किसी भी स्तर पर जल प्रदूषित नहीं होने पाए।
पर्यावरण संरक्षण व प्रदूषण नियंत्रण हेतु उठाए जा रहे कदम।
कलेक्टर मनीष सिंह ने इंदौर जिले में हो रहे कार्यों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि इंदौर में अपशिष्टों के निस्तारण के लिए विभिन्न स्तरों पर उचित कार्रवाई और कार्य मापदण्ड के अनुसार हो रहे हैं। इसके बेहतर परिणाम भी मिल रहे हैं। राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण द्वारा दिए गए निर्देशों के अनुपालन में पर्यावरण संरक्षण तथा प्रदूषण नियंत्रण हेतु इंदौर में योजनाबद्ध रूप से कार्य किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि नदी संरक्षण एवं जीर्णोद्धार के लिए भी कार्य किए गए हैं। रूफ वॉटर हॉर्वेस्टिंग की दिशा में भी लोगों में जागरूकता ला कर परिणाममूलक कार्य किए गए हैं। बैठक में इंदौर में बॉयो मेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट हेतु किए गए सभी कार्यों की जानकारी दी गई।